Black And White Live: अतीक अहमद के दफ्तर से मिला था जाने
केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर ने कांग्रेस प्रमुख पर पलटवार किया। उन्होंने कहा कि कांग्रेस ने खरगे को पार्टी अध्यक्ष बनाया, लेकिन कोई भी उन्हें ऐसा नहीं मानता, इसलिए उन्होंने ऐसा बयान देने के बारे में सोचा, जो सोनिया गांधी की ओर से दिए गए बयान से भी बदतर हो More News
कर्नाटक चुनाव से पहले कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे की जुबान फिसल गई। उन्होंने पीएम मोदी को लेकर एक विवादित बयान दिया है। दरअसल, खरगे राज्य में पार्टी का चुनाव प्रचार करने के लिए कलबुर्गी में एक जनसभा को संबोधित कर रहे थे। इस दौरान उन्होंने पहले पीएम मोदी को अच्छा इंसान बताया और फिर उनकी भाषा अभद्र होती चली गई। खरगे ने कहा कि पीएम मोदी जहरीले सांप की तरह हैं। आप सोच सकते हैं कि यह जहर है या नहीं। यदि आप इसके संपर्क में आते हैं तो आपकी जान चली जाएगी. breaking news headlines
हालांकि, खरगे ने इस पर सफाई भी दी। उन्होंने कहा कि मैं पीएम मोदी के लिए नहीं बोल रहा था। मेरा मतलब था कि बीजेपी की विचारधारा सांप की तरह है। मैंने पीएम मोदी के लिए व्यक्तिगत रूप से यह कभी नहीं कहा। मैंने जो कहा था कि उनकी विचारधारा सांप की तरह है और यदि आप इसे छूने की कोशिश करते हैं, तो आपकी मृत्यु निश्चित है.
मामले में जब विवाद बढ़ता चला गया तो खरगे ने ट्विटर के जरिए भी स्पष्टीकरण दिया और माफी भी मांगी। खरगे ने कहा कि BJP की विचारधारा विभाजनकारी, वैमनस्यपूर्ण और गरीबों व दलितों के प्रति नफरत व पूर्वाग्रह से भरी है। मैंने इसी नफरत व द्वेष की राजनीति की चर्चा की। मेरा बयान न व्यक्तिगत तौर से प्रधानमंत्री मोदी जी के लिए था, ना किसी और व्यक्ति विशेष के लिए। प्रधानमंत्री मोदी के साथ हमारी लड़ाई निजी लड़ाई नहीं है। वैचारिक लड़ाई है, More News
उन्होंने पीएम को कुछ ऐसा कह दिया, जिसे लेकर भाजपा आईटी सेल के प्रमुख अमित मालवीय ने कांग्रेस पार्टी को आत्ममंथन करने की सलाह दे डाली. उन्होंने कहा कि कांग्रेस पार्टी का स्तर दिन पर दिन गिरता जा रहा है. पीएम को लेकर उनकी भाषा दिन पर दिन अभद्र होती जा रही है
केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर ने पीएम मोदी पर टिप्पणी को लेकर कांग्रेस प्रमुख की खिंचाई की। उन्होंने कहा कि कांग्रेस ने मल्लिकार्जुन खरगे को पार्टी अध्यक्ष बनाया, लेकिन कोई भी उन्हें ऐसा नहीं मानता, इसलिए उन्होंने ऐसा बयान देने के बारे में सोचा, जो सोनिया गांधी की ओर से दिए गए बयान से भी बदतर हो
आनंद मोहन जैसे दोषियों की सजा रेमिशन पॉलिसी (Remission policy) के तहत माफ की गई है। अपराधी की सजा को लेकर बनाई गई ये पॉलिसी उसकी सजा में छूट प्रदान करती है। इसके तहत किसी की भी सजा को राज्य सरकार कम कर सकती है, लेकिन इसको लेकर काफी विचार विमर्श किया जाता है और कैदियों के व्यवहार का आंकलन भी किया जाता है।
यहां बता दें कि जेल राज्य और केंद्र शासित प्रदेशों के अंतर्गत आते हैं। हर जेल का एक जेल मैन्युअल होता है, जिसके तहत कोर्ट द्वारा किसी भी दोषी को दी गई सजा कम या माफ की जा सकती है